हज़रत शाह अब्दुस सलाम फरीदी रहमतुल्लाह अलैह
आप रहमतुल्लाह अलैह हज़रत शैख़ काज़िम अली फरीदी रहमतुल्लाह अलैह के फ़रज़न्द हैं, 19/ वास्तों से आप का सिलसिलए नसब शैखुल इस्लाम हज़रत बाबा फरीदुद्दीन मसऊद गंजे शकर रहमतुल्लाह अलैह तक पहुँचता है, आप को वालिद माजिद की तफ से चारों सिलसिलों में मुरीद करने की इजाज़त थी, आप के बेशुमार मुरीदो खलीफा थे, हज़रत शाह अब्दुस सलाम फरीदी रहमतुल्लाह अलैह आप हज़रत शैख़ सलीम चिश्ती रहमतुल्लाह अलैह फतेहपुर सीकरी! की दरगाह शरीफ के दसवे सज्जादा नशीन थे, आप के दो बड़े भाई थे, 1889/ ईसवी में आप तमाम जायदाद और दरगाह शरीफ के हिसाबो किताब अपने बड़े भाई को सौंप कर दिल्ली तशरीफ़ ले आए, आप बहुत कम गुफ्तुगू फरमाते थे, हज़ारों आदमियों के मजमे, में भी अल्लाह पाक के ज़िक्र में मशगूल रहते थे, आप से बेशुमार करामातों का ज़हूर हुआ।
वफ़ात
आप रहमतुल्लाह अलैह ने 10/ सफारुल मुज़फ्फर 1314/ हिजरी को पाई।
मज़ार मुबारक
आप रहमतुल्लाह अलैह का मज़ार शरीफ, कनाट प्लेस, नियर लेडी हार्डिंग हॉस्पिटल, नई दिल्ली, मरीना होटल के सामने दरगाह अब्दुस सलाम से मशहूर है।
“अल्लाह रब्बुल इज़्ज़त की उन पर बेशुमार रहमत हो और उन के सदके में हमारी मगफिरत हो”
रेफरेन्स हवाला
रहनुमाए मज़ाराते दिल्ली

